- भारी कलाइयां मजबूत मर्द की निशानी होती है। कोई शख्स भीतर से मजबूत हो या न हो लेकिन अगर कलाइयां बनी हुई है तो हाथ मिलाने वाला हर शख्स सम्मान करता है। कलाई हमारी बॉडी का बहुत टफ पार्ट होती है ये आसानी से बनती नहीं और बन जाएं तो फिर करीब लाइफटाइम बनी रहती हैं। बॉडी बिल्डिंग में नियम होता है की किसी एक पार्ट की कसरत एक बार करने के बाद कम से -कम १२ घंटे का रेस्ट होना चाहिये , कातिल कलाइंया घर पर बनाएं गारंटी के साथ
- गारंटी के साथ कह रहे हैं ये दो कसरतें कलाइयों में आग लगा देंगी और हथेलियों को लोहे जैसा बना देंगी। कलाई ,काफ और कॉलर ये तीन बॉडी पार्ट ऐसे हैं , जो कसरत बदन की पहचान बताते हैं। बाजू मोड़ने के बाद आपकी कलाइयां ही नजर आती हैं। अगर वो अच्छी है तो बाइसेप्स का साइज थोड़ा कम भी चल जायगा। कुछ लोगों के पास नेचुरली मजबूत कलाइयां और हाथ होते है। जिन लोगों के हाथ बहुत सॉफ्ट है। जिन लोगों के हाथ बहुत सॉफ्ट है। वो इस एक्सोसाइज से बहुत फायदा पासकते हैं। बाइसेप्स बड़े करने के बारे में सोच रहे हैं तो
- बाइसेप्स बड़े करने के बारे में सोच रहे है तो कंसन्ट्रेशन कार्ल को एवॉइड नहीं कर सकते। ये बाइसेप्स की वो आइसोलेटेड कसरत है , जिसमे बाइसेप्स का एक्टिविटी लेवल ९७%हो जाता है। इसका मतलब कि ३ फीसदी छोड़कर पूरा बाइसेप्स काम कर रहा होता है। वैसे देखेंगे तो आपको यह लग सकता है की प्रीचर कर्ल भी तो काफी हद तक ऐसी ही एक्सराइज होती है मगर अमेरिकन कांउसिल ऑन एक्सरसाइज की स्टडी के मुताबिक बाइसेप्स प्रीचर कर्ल में बाइसेप्स की एक्टिविटी का लेवल ६९%होता है। इसलिए कंसन्ट्रेशन कर्ल को अपने शेड्यूल में शामिल करें।
- तस्वीर देखकर पोजीशन बना ले। बेंच इतनी ऊंची बेंच पर बैठेंगे तो ताकत कम हो जाएगी। आपके पैर वी शेप में रहेंगे।
- बयां हाथ अपने घुटने पर टिका ले और दाएं हाथ की कोहनी अपनी जांघ से सटा लें। कोहनी को जांघ के ऊपर नहीं टिकना हैं बस जांघ के बीच हिस्से से सहारा लेना हैं। कंधों की मूमेंट कम से कम रखते हुए कर्ल करना शुरू करें।
- जब डंबल ऊपर आएगा तो पीछे की ओर नहीं होना है। अपनी बॉडी को आगे की ओर हल्का सा झुका कर रखें।
- कमर को सीधा रखें ,कमर को गोल नहीं करना है। जितने भी रैप निकालने है फिर हाथ बदल ले।
कलाइयो को बनायें मजबूत
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